Saturday, October 25, 2008

उस दिन होगी असली दिवाली

---- चुटकी----
घर घर मंगल दीप जलाएं
कोई कौन रहे न खाली,
चारों तरफ़ हो खुशियों का आलम
कोई पेट रहे ना खाली।
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सब के तन पर कपडें हों
बेघर के घर अपने हों,
नगर में दिखे ना कोई सवाली
उस दिन होगी असली दिवाली।
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अधरों पर मुस्कान खिले
हर हाथ को काम मिले,
घर घर बाजे खुशियों की थाली
कब आएगी ऐसी दिवाली।
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मस्ती में झूमे मतवाले
किसी के घर भी लगे ना ताले
रोशन हो एक कौना कौना
कहीं दिखे ना चादर काली
किस दिन आएगी ऐसी दिवाली।
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----गोविन्द गोयल

3 comments:

राज भाटिय़ा said...

बहुत ही सुन्दर विचार, काश की ऎसा हो
धन्यवाद.
आपको को स्वपरिवार दीपावली की हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाऐं.

Dr. Nazar Mahmood said...

bhadhiya
दीपावली की हार्दिक शुबकामनाएं

Unknown said...

ऐसी दिवाली आए और सब के घर आए.
आप सब को ऐसी दिवाली की शुभकामनाएं.

यह कमेन्ट मोडरेशन क्यों लगा दिया आपने इस पोस्ट पर?